Above The Fold क्या है? | What Is Above The Fold? In Hindi

अगर आप एक Blogger हो और आपकी कोई वेबसाइट है तो आपने Above the fold के बारे जरूर सुना होगा या पढ़ा होगा। इसे सबसे पहले न्यूज़ पेपर में कंटेंट की position को सेट करने के लिए इस्तेमाल किया जाता था।

जब भी हम हमारे ब्लॉग को या वेबसाइट को webmaster tool पर चेक करते है तो हमें काफी सारे फैक्टर्स को दिखाया जाता है जो हमारी वेबसाइट के फ़ास्ट लोड होने में problem कर रहे होते है। गूगल ने कुछ दिन पहले Google Algorithm Update को जारी किया था, जो यह बताता है की वेबसाइट या वेब पेज की स्पीड उसके रैंक होने में या ना होने में जिम्मेदार रहेगी। 

अगर आप एक पुराने ब्लॉगर हो तो शायद आपको पता होगा की गूगल ऐसी वेबसाइट को पनिश करता था जो लोड होने में ज्यादा समय लेती थी। वहीं अगर कोई वेबसाइट फ़ास्ट लोड होती थी तो गूगल उसे उसका कोई भी बेनिफिट नहीं देता था। लेकिन आज के समय में गूगल वेब पेज के फ़ास्ट लोड होने को भी importance देने लगा है। अगर कोई वेबसाइट जल्दी लोड हो जाती है तो गूगल उसे उसका बेनिफिट जरूर देगा। ऐसे में अगर आपकी वेबसाइट लोड होने में काफी समय लेती है तो आपको उसे सुधारने की जरूरत है। 

वेबसाइट के Page experience को अगर आपको बढ़िया बनाना चाहते है तो आपको कुछ चीजों को ठीक करना होगा। Page experience को बेहतर बनाने में जो चीज सबसे ज्यादा जरूरी और मैनेज या सही करने में सबसे मुश्किल है वह Core Web Vitals है. Core Web Vitals तीन फैक्टर्स के combination से बनता है जो की LCP, FID और CLS है। Read also: LCP Score क्या है? और इसे कैसे Improve करे?

जब आप किसी webmaster tool पर अपनी वेबसाइट को टेस्ट करते है तो आपको Largest Contentful Paint(LCP) नाम का एक फैक्टर दिखाई देता है और इस LCP को measure करने के लिए डिवाइस का जो पार्ट consider किया जाता है वह Above the fold होता है। 

Above the fold क्या है?

Above the fold डिवाइस की वह position होती है जिसमे वेब पेज के open करने पर जहां कंटेंट दिखने लगता है। वेब पेज के open होने पर कंटेंट डिवाइस screen की जिस position पर दिखाई देता है बिना scroll किए उस position को हम Above the fold कहते है। यह हो गई इसकी definition, अब इसे थोड़ा विस्तार से समझते है।

जब हम कोई वेब पेज visit करते है तो हमें कुछ text, images या कोई video दिखाई देता है, जो की डिवाइस के सबसे टॉप पार्ट में दिखाई देते है। वह वेब पेज काफी लंबा हो सकता है, शायद 500 words का हो सकता है या 5000 words का भी हो सकता है। लेकिन जब आप किसी वेब पेज को open करते है तो आपको उस पेज का सिर्फ कुछ ही कंटेंट दिखाई देता है और डिवाइस की इसी position को हम Above the fold position कहते है। 

Above the fold पार्ट हर डिवाइस का अलग-अलग होता है। जैसे अगर आप मोबाइल से किसी वेब पेज को visit करते है तो आपको थोड़ा ही कंटेंट दिखाई देगा, क्योंकि डिवाइस की स्क्रीन छोटी है। लेकिन अगर आपने लैपटॉप या कंप्यूटर में पेज को open किया है तो उसमे कंटेंट थोड़ा ज्यादा दिखाई देगा, उसका Above the fold पार्ट भी थोड़ा ज्यादा ही होगा। 

अगर फिर भी आपको समझ नहीं आ रहा है तो आप निचे दिखाई इमेज को देख सकते है।

above the fold

कंप्यूटर screen में हमें ब्लॉग title, pots title, image, heading के साथ काफी सारा text और साइड बार भी दिखाई दे रहा है। कुछ ऐसा ही कंटेंट टैब में भी दिखाई दे रहा है सिर्फ स्पेस तोड़ा कम है। वही अगर हम टैब और कंप्यूटर की तुलना में मोबाइल को देखे तो काफी कम कंटेंट दिखाई दे रहा है। 

मोबाइल फोन में सिर्फ Blog का title है, एक image है, post का title है, और थोड़ा सा content है। अब आपको device screen पर जो भी दिखाई दे रहा है वो Above The Fold कंटेंट ही है।

शायद आपको पता होगा की पूरी traffic का सिर्फ 10% से 20% ही कंप्यूटर, टैब और लैपटॉप से आता है और बाकि का 80% तक का traffic मोबाइल फ़ोन से आता है। अगर आप चाहे तो सिर्फ मोबाइल फ़ोन के लिए ही अपने वेबसाइट के pages को प्लान कर सकते है। 

ऊपर दिखाए सभी डिवाइस में आपको जो भी कंटेंट दिखाई दे रहा है वह position डिवाइस की Above the fold position होगी और जो भी कंटेंट दिखाई दे रहा है वह Above the fold कंटेंट होगा। Read also: AdSense CTR क्या है और इसे कैसे बढ़ाए?

उम्मीद करते हैं आपको आपके सवाल का जवाब मिल गया हो।

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